दुर्ग शहर कांग्रेस पार्टी के पदाधिकारियों द्वारा पूर्व विधायक अरूण वोरा के हार का इतनी बड़ी सजा कि अब पुछपरख नहीं बैठक एवं आमंत्रण कार्ड में नाम नहीं होने से वोरा ने नाराजगी जताई कही न कही आपस में एक दुसरे प्रति गुटबाजी दिखाई दिए आखिर क्यों पार्टियों के पदाधिकारियों द्वारा नजरंदाज… 
दुर्ग शहर स्थित कांग्रेस भवन में 11 मार्च को दोपहर दो बजे के आसपास आने वाले लोकसभ चुनाव को लेकर पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं के बीच एक महत्वपूर्ण बैठक रखी गई थी जिसमें दुर्ग शहर सरकार महापौर धीरज बाकलीवाल जिला कांग्रेस कमेटी दुर्ग शहर अध्यक्ष गया पटेल एवं महिला कांग्रेस कमेटी दुर्ग अध्यक्ष कन्या ढीमर,आर एन वर्मा पूर्व महापौर, सभापति राजेश यादव दुर्ग लोकसभा सांसद प्रत्याशी राजेन्द्र साहू सहित अनेकों पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं विशेष रूप से उपस्थित रहे
आपको बता दें कि दुर्ग शहर में कांग्रेस के लगभग दो से तीन सौ पदाधिकारियों नियुक्ति कि गई है। और लगभग हजारों कि तादाद में कार्यकर्ताओं होने के बाद भी इस विशेष मीटिंग में मुट्ठी भर लोग शामिल थे ऐसा लगा मानो सरकार के चलें के बाद आज भी कुछ लोगों को सबक नहीं मिला आपको जानकर आश्चर्य होगा कि इस मीटिंग में पूर्व विधायक अरूण वोरा को आमंत्रित नहीं किया गया था
मीटिंग शुरू होने से पहले कांग्रेस के किसी पदाधिकारी ने पुछा कि वोरा जी दिख नहीं रहें तो किसी ने कहा उसे इस मीटिंग में आमंत्रित नहीं कि गई है। कांग्रेस भवन में मीटिंग हाल शोरगुल से गुंज उठा तत्पश्चात लोकसभा सांसद चुनाव प्रत्याशी राजेन्द्र साहू और उनके सहयोगियों द्वारा मंच से उतर कर सीधे वोरा निवास चले गए लेकिन इस कार्यक्रम के बारे में किसी के माध्यम से पूर्व विधायक अरूण वोरा को पता चल गया था
थोड़ी ही देर में राजेंद्र साहू ने अपने टीम के साथ वोरा निवास पहुंचकर सभी कि ओर क्षमायाचना करते हुए वोरा को लेकर कांग्रेस भवन पहुंचे यह मीटिंग काफी चर्चा का विषय रहा दो बजे के मीटिंग शुरू होने वाले लगभग चार बजे वोरा के जाने के बाद मीटिंग शुरू हुई
ठीक उसी प्रकार आज 12 मार्च को कांग्रेस भवन में सुबह 11 बजे अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस नारी न्याय नारी सम्मान कार्यक्रम आयोजित कि गई जहां आज भी आमंत्रण कार्ड में पूर्व विधायक अरूण वोरा का नाम दर्ज नहीं किया गया था इससे साफ जाहिर होता है कि अरुण वोरा के हारने के बाद उनके ही द्वारा बनाया गया पदाधिकारियों द्वारा आज कोई भी मीटिंग एवं कार्यक्रम रखते हैं।
तों पूर्व विधायक अरूण वोरा को क्यों नजरंदाज कर रहे हैं आखिर क्यो किसी भी कार्यक्रम में न ही आमंत्रित करते और न ही कार्ड्स में नाम छपाई नहीं किया गया है। जबकि पूर्व विधायक अरुण वोरा के कार्यकाल में ही कांग्रेस भवन का निर्माण हुआ और साथ ही पूर्व विधायक अरूण वोरा के नेतृत्व में करोड़ों का विकास कार्यों कि गाथा दुर्ग शहर में लिखी गई
दुर्ग शहर में कोई भी बाहरी व्यक्ति अगर प्रवेश करते हैं। तों दुर्ग शहर का विधायक अरुण वोरा किसी पहचान का मोहताज नहीं लोगों के जुबान में आज भी वोरा जी आते हैं। पूर्व विधायक अरूण वोरा जैसे मिलनसार, व्यक्ति खोजने पर भी नहीं मिलेगा ऐसे व्यक्ति को आज कोई भी कार्यक्रम में उनके पार्टी के पदाधिकारियों द्वारा पुछपरक नहीं करना समझ से परे है।